Toll Plaza Distance : हाईवे पर कितनी होती है दो टोल प्लाजा के बीच की दूरी

Toll Plaza Distance : किसी भी नेशनल हाईवे से यात्रा करते समय हमें जगह-जगह टोल प्लाजा मिलते हैं। यहां पर वाहनों से टोल टैक्स लिया जाता है। ऐसे में यह ख्याल उठ सकता है कि हाईवे पर 2 टोल प्लाजा के बीच दूरी कितनी होती है। इसके लिए कोई निश्चित दूरी तय है या फिर कहीं भी यह बना दिए जाते हैं। आज हम इसी बारे में जानेंगे।

Toll Plaza Distance : हाईवे पर कितनी होती है दो टोल प्लाजा के बीच की दूरी

Toll Plaza Distance : किसी भी नेशनल हाईवे से यात्रा करते समय हमें जगह-जगह टोल प्लाजा मिलते हैं। यहां पर वाहनों से टोल टैक्स लिया जाता है। ऐसे में यह ख्याल उठ सकता है कि हाईवे पर 2 टोल प्लाजा के बीच दूरी कितनी होती है। इसके लिए कोई निश्चित दूरी तय है या फिर कहीं भी यह बना दिए जाते हैं। आज हम इसी बारे में जानेंगे।

दरअसल, राष्ट्रीय राजमार्गों पर टोल प्लाजा राष्ट्रीय राजमार्ग शुल्क (दरों का निर्धारण और संग्रह) नियम, 2008 के अनुसार स्थापित किए जाते हैं। यह टोल प्लाजा यह निर्धारित करता है कि राष्ट्रीय राजमार्ग के उसी खंड पर और उसी दिशा में कोई अन्य टोल प्लाजा साठ किलोमीटर की दूरी के भीतर स्थापित नहीं किया जाएगा।

इससे स्पष्ट है कि दो टोल प्लाजा के बीच सामान्यत: दूरी 60 किलोमीटर होती है। यानी एक टोल प्लाजा से दूसरा टोल प्लाजा 60 किलोमीटर से पहले नहीं बनाया जाएगा। हालांकि ऐसा भी नहीं है कि हर हाल में यह दूरी इतनी ही हो। यदि निष्पादन प्राधिकारी आवश्यक समझे तो वह इससे कम दूरी पर भी दूसरा प्लाजा शुरू करने की अनुमति दे सकते हैं।

इस स्थिति में है यह संभव

निष्पादन प्राधिकारी लिखित रूप में दर्ज किए जाने वाले कारणों से साठ किलोमीटर की दूरी के भीतर एक और टोल प्लाजा स्थापित कर सकता है या रियायतकर्ता को स्थापित करने की अनुमति दे सकता है।

इनके लिए भी राशि का संग्रह

आगे यह भी प्रावधान है कि एक टोल प्लाजा किसी अन्य टोल प्लाजा से साठ किलोमीटर की दूरी के भीतर भी स्थापित किया जा सकता है यदि ऐसा शुल्क प्लाजा किसी स्थायी पुल, बाईपास या सुरंग के शुल्क संग्रह के लिए है।

पहले नहीं था ऐसा कोई नियम

टोल प्लाजा की स्थापना के लिए साठ किलोमीटर की दूरी का मानदंड राष्ट्रीय राजमार्ग शुल्क (दरों का निर्धारण और संग्रह) नियम, 2008 के बाद अस्तित्व में आया है। पहले के राष्ट्रीय राजमार्ग शुल्क नियम, 1997 में ऐसा कोई मानदंड नहीं था।

इसके अतिरिक्त, बंद उपयोगकर्ता शुल्क संग्रह प्रणाली के मामले में, राष्ट्रीय राजमार्गों पर कहीं भी शुल्क प्लाजा स्थापित किए जा सकते हैं।

Uttam Malviya

उत्तम मालवीय : मैं इस न्यूज वेबसाइट का ऑनर और एडिटर हूं। वर्ष 2001 से पत्रकारिता में सक्रिय हूं। सागर यूनिवर्सिटी से एमजेसी (मास्टर ऑफ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री प्राप्त की है। नवभारत भोपाल से अपने करियर की शुरुआत करने के बाद दैनिक जागरण भोपाल, राज एक्सप्रेस भोपाल, नईदुनिया और जागरण समूह के समाचार पत्र 'नवदुनिया' भोपाल में वर्षों तक सेवाएं दी। अब इस न्यूज वेबसाइट का संचालन कर रहा हूं। मुझे उत्कृष्ट पत्रकारिता के लिए प्रतिष्ठित सरोजिनी नायडू पुरस्कार प्राप्त करने का सौभाग्य भी नवदुनिया समाचार पत्र में कार्यरत रहते हुए प्राप्त हो चुका है।

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